अखिलेश के समर्थन में उतरे प्रोफेसर रामगोपाल ने जारी किया खुला पत्र, कहा ये सभी हैं बेइमान!


यूपी के सियासत का पारा चढ़ाने वाली समाजवादी पार्टी का घमसान अब एक और तीखे मोड़ पर पहुँच गया हैं. जहां से पार्टी के नेताओं को अब बहुत ही संभल कर मुड़ना होगा क्योंकि हो सकता है पार्टी बहुत ही जल्द दो खेमे में बंट जाए! इसका साफ इशारा राज्यसभा सांसद प्रोफेसर रामगोपाल यादव ने एक खुला खत जारी करके दे दिया है. रामगोपाल ने अखिलेश यादव के समर्थन में यह खुला पत्र जारी करके सपा में भूचाल मचा दिया हैं. उन्होंने अपने इस पत्र में जो भी लिखी है वो सपा में दो फाड़ कराने का बड़ा संकेत दे रही है.


उन्होंने अपने इस खुले पत्र में लिखा है ‘आगे बढ़ो हम सब अखिलेश के साथ हैं. अब जरूरत है कि हमलोग मिलकर अखिलेश यादव की विकास रथ यात्रा को सफल बनाएं. यदि सभी कार्यकर्ता एकजुट हो जाएं तो आगामी विधानसभा चुनाव में अखिलेश की अगुवाई में पार्टी की जीत तय है.’ उन्होंने पत्र में ये भी लिखा है ‘जो लोग अखिलेश का विरोध करेंगे, वे नहीं जीत पाएंगे. सच्चाई तो यह है कि सुलह की बात करने वाले बेइमान हैं और यही लोग पार्टी को कमजोर करने की कोशिश कर रहे हैं.’

आपको बता दें कि पार्टी में चल रहे घमासान से नाराज अखिलेश को मनाने के लिए पार्टी के कुछ वरिष्ठ नेता उनसे मिलने कल उनके आवस पर पहुंचे हुए थे. सपा से जुड़े सूत्रों के मुताबिक स्पीकर माता प्रसाद पांडेय, किरणमय नंदा, रेवती रमण, नरेश अग्रवाल और राजेंद्र चौधरी उनके आवास पर गये. इस बात पर भी रामगोपाल ने अपने पत्र के जरिए हमला बोला है.

आपको बता दें कि अखिलेश ने बड़ा ऐलान करते हुए कहा है कि वो तीन नवंबर से समाजवादी विकास रथयात्रा को हरी झड़ी दिखायेंगे. जबकि पांच नवंबर को होने वाले समाजवादी पार्टी के रजत जयंती समारोह में उन्होंने नहीं शामिल होने का बड़ा संकेत भी दिया. सूत्रों की माने तो अखिलेश ने सपा मुखिया मुलायम को इस रथ यात्रा को लेकर के पत्र भी लिखा था. जिसमें उन्होंने कहा था कि वो तीन अक्टूबर से समाजवादी विकास रथयात्रा निकालना चाहते थे लेकिन कुछ कारण से इसे प्रारंभ नहीं किया जा सका. इसलिए वो यह यात्रा तीन नवम्बर से निकालने वाले हैं. समाजवादी पार्टी में चल रहे घमसान के दौरान निकाले जा रहे अखिलेश इस यह रथ यात्रा उन्हें पार्टी से अलग थलग करती नजर आ रही है. रामगोपाल ने अपने पत्र में इस बात को भी जिक्र किया है.


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