नोटबंदी के कारण बेटा खोया, फिर भी पूरा परिवार मोदी के साथ
— November 16, 2016
Edited by: ajit kumar on November 16, 2016.
बुलंदशहर: मोदी सरकार के नोटबंदी के फैसले से नोट बदलने को लेकर पूरे देश में अफरा-तफरी का मौहल है, पूरा देश बैंक या उसके ATM के लाइन में खड़ा है. इसी बीच बैंकों में करेंसी खत्म या लाईन इतनी लम्बी है की बहुतो को पैसा नहीं मिल पा रहा है. ऐसा ही कुछ इंटर के छात्र के साथ हुआ जिसको 500 और 1000 रुपये के नोट नोटबंदी के कारण नहीं बदल पाया. जिसके बाद वह खुदकुशी कर ली.
लोगों ने बताया कि वह करंसी चेंज करने के लिए पिछले तीन दिनों से बैंक के चक्कर काट रहा था, लेकिन करंसी चेंज नहीं हो सकी. जिसके वजह से छात्र गंगा मेले में भी नहीं जा सका. परिजनों का कहना है कि इस बात से परेशान होकर छात्र ने आत्महत्या कर ली. इतना कुछ होने के बाद भी छात्र के परिजनों का कहना है कि हमने अपना बेटा खोया है, लेकिन कालेधन के खिलाफ लिए पीएम मोदी के फैसले के साथ हम खड़े हैं.
इस बात से दुखी होकर छात्र ने ये कदम उठाया. ख़ुदकुशी करने वाला छात्र का नाम अमित बतया जाता है उसके पिता बीएसएफ के जवान हैं, परिवार में तीन फौजी हैं. अमित के चाचा ज्ञानवीर को अपने भाई के इकलौते बेटे के जाने का गम है. फिर भी वह पीएम मोदी के इस फैसले के साथ है. ज्ञानवीर ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने ब्लैकमनी रोकने के लिए जो कदम उठाया है, वह एकदम सही है. उन्होंने पीएम से आग्रह किया कि वह भ्रष्टाचार के खिलाफ उठाया गया कदम वापस न लें.
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